Sunday, 5 June 2011

बाबा पर हमले की थी खुफिया सूचनाः दिल्ली पुलिस

शनिवार की रात को बाबा रामदेव को जबरदस्ती रामलीला मैदान से हटाने के बाद रविवार को दिल्ली पुलिस ने खुलासा किया कि बाबा रामदेव की जान को खतरा था। दिल्ली पुलिस के आला अधिकारी ने प्रेस कांफ्रेंस में इसकी जानकारी दी।

मीडिया द्वारा उठाए गए विभिन्न सवालों का जवाब देने के दौरान दिल्ली पुलिस के प्रवक्ता ने कहा कि हमारे पास खुफिया सूचना थी कि बाबा रामदेव और एक अन्य की जान को खतरा था। रामलीला मैदान में बढ़ती भीड़ को देखते हुए वहां पर उनपर हमला हो सकता था। पुलिस ने दूसरे
व्यक्ति का नाम बताने से इनकार कर दिया।


दिल्ली पुलिस ने साफ किया कि वहां मौजूद लोगों पर कोई बल प्रयोग नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि किसी पर लाठी चार्ज भी नहीं किया गया। पुलिस ने बताया कि हमें पता चला कि आस-पास के राज्यों से लोगों की गतिविधियां दिल्ली की तरफ बढ़ रही थी। ऐसे में कानून व्यवस्था की समस्या पैदा हो सकती थी।



पुलिस के आला अधिकारी ने बताया कि वहां पर जब पुलिस ने बाबा रामदेव को बताया कि उनको वहां योग शिविर लगाने की अनुमति रद्द कर दी गई है तो उन्होंने पुलिस के साथ सहयोग करने से मना कर दिया और लोगों की भीड़ में चले गए। उसके बाद लोगों ने पथराव शुरू कर दिया, जिससे भगदड़ मच गई। पुलिस ने बताया कि जो भी लोग घायल हुए हैं वे या तो पथराव से हुए या भी भगदड़ में गिरने के कारण हुए।



पुलिस ने यह भी बताया कि पथराव की घटना के बाद ही पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े। अधिकारी ने महिलाओं के साथ बदसलूकी संबंधी आरोपों को भी खारिज किया तथा बताया कि वहां पर काफी संख्या में महिला पुलिस मौजूद थीं, और जहां भी जरूरी हुआ महिला पुलिस ने स्थिति को नियंत्रित किया।


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